बी आर डी मेडिकल के गेट से मरीजो को निजी अस्पतालों में बेचने वाले गिरोह के सात अभियुक्त गिरफ्तार।
गोरखपुर।प्रदेश बाद में स्वास्थ्य सेवाओं को बेहतर बनाने के लिए लगातार प्रदेश सरकार काम कर रही है लेकिन गोरखपुर में एक ऐसे गैंग का खुलासा हुआ जो बीमारी से पीड़ित मरीजों को मेडिकल कॉलेज गेट पर पहुंचने के बाद कॉलेज में अंदर जाने से पहले उनका सौदा निजी अस्पतालों से कर देते थे और यह मरीज मेडिकल कॉलेज ना जाकर निजी अस्पताल में पहुंच जाते थे जहां उनकी जिंदगी और मौत का सौदा होता था इन निजी अस्पतालों में ना तो इलाज के बेहतर व्यवस्था थी ना स्पेशलिस्ट डॉक्टर और कर्मचारी थे पुलिस ने शिकायत के बाद जब इस गैंग को धारदार पहुंचा तो काफी चौंकाने वाला मामला सामने आया।
गोरखपुर जिले के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में भर्ती करने वाले मरीजों के परिजनों को बरगलाकर बेड नहीं खाली है अच्छे डॉक्टर नहीं है जैसे अन्य बातें कह कर प्रतिष्ठित हॉस्पिटलों का नाम लेकर राजी करते हैं जब मरीज का परिजन राजी हो जाता है तब उन मरीज को अपने पसंदीदा सेटिंग वाले अस्पतालों में भर्ती कराकर मोटी रकम वसूल करने वाले बीआरडी मेडिकल कॉलेज के संविदा वार्ड बॉय स्ट्रक्चर चलने वाला, गॉड सहित सात अभियुक्तों को चिलवाताल पुलिस ने गिरफ्तार करने का काम किया जो इशू हॉस्पिटल की तरह यूनिवर्सल हॉस्पिटल में भर्ती करने का काम करते थे पुलिस ने गैंग सरगना मनोज सहित उमेश कुमार पुत्र राम केवल बिट्टू यादव पुत्र अनिरुद्ध यादव मोहम्मद असलम पुत्र मोहम्मद इस्लाम महेंद्र पुत्र विजयनाथ शाहनवाज पुत्र मोहम्मद कासिम उमेश भारती पुत्र नंदलाल दीनदयाल पुत्र फागू लाल को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की ।
जो बीआरडी मेडिकल कॉलेज में भर्ती करने गए तीमदारों को बरगलाकर मरीजों को यूनिवर्सल हॉस्पिटल तथा अन्य प्राइवेट अस्पतालों में अच्छी व्यवस्था की झांसा देकर निजी एंबुलेंस से भर्ती कराया गया जाता था यूनिवर्सल हॉस्पिटल में भर्ती करने के उपरांत अस्पताल संचालक के साथ अभियुक्त द्वारा मिलकर तीमारदारो से लाखों रुपए जमा कर लिया जाता है बाद में मरीजों को वहां पर कोई डॉक्टर अटेंड नहीं करने पर मरीज की हालत बिगड़ती जा रही थी।
गोपनील जांच पूछताछ अन्य स्रोतों से प्राप्त जानकारी से ज्ञात हुआ कि अभियुक्त प्राइवेट अस्पतालों की दलाली करते हैं अस्पताल संचालक महेश कुमार व उसके भाई उमेश एंबुलेंस चालक स्वामी वार्ड वाय संविदा ट्राली मेन व शामिल है ।
यह सभी बीआरडी मेडिकल कॉलेज गोरखपुर से मरीजों को गेट पर ट्रालिमेन एवं एंबुलेंस चालक की सहायता से अन्य किसी अस्पताल ले जाकर भर्ती करते हैं इसी तरह दर्जनों अस्पताल शहर में काम कर रहे हैं जो पूर्व में सिल किए गए अस्पतालों द्वारा अन्य अस्पताल के नाम से लाइसेंस बनवाकर खोलने का कार्य करते हैं ऐसे कथित अस्पतालों के ऊपर भी कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी साथ में ही मकान मालिकों को भी चिन्हित किया जा रहा है जो पूर्व में उनके मकान में अस्पताल चल रहा था बाद में अन्य नाम से अस्पताल खोल लिया गया उनके ऊपर भी कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।